उत्तराखंड राज्य आंदोलनकारी की शहीद स्थल पर बैठक

उत्तराखंड राज्य आंदोलनकारी की शहीद स्थल पर बैठक
आज दिनांक 04-जुलाई को उत्तराखण्ड राज्य आंदोलनकारी मंच द्बारा राजभवन द्बारा शहीद परिवार के परिजनों के साथ राज्य आन्दोलनकारियो की उपेक्षा के चलते पूर्व घोषित कार्यकम के तहत शहीद स्मारक में वृहद बैठक आयोजित की गई।
राजभवन व शासन/सरकार की लापरवाही के चलते आज सैकड़ो राज्य आन्दोलनकारियो के रोजगार पर संकट खड़ा हो गया।
आज की बैठक का संचालन पूर्ण सिंह लिंगवाल व अध्यक्षता प्रदेश अध्यक्ष जगमोहन सिंह नेगी ने किया। जगमोहन सिंह नेगी व प्रदीप कुकरेती ने कहा कि पिछले 21-वर्षो में ये पहला मौका है कि राजभवन में महामहिम ने पिछले 2/3 वर्षो से समय की मांग कर रहें है़ परन्तु आज तक उन्होने वार्ता हेतु समय उपलब्ध नही कराया और ना ही आज तक एक्ट पर हस्ताक्षर नही किये और ना ही वापस किया। इससे राज्य आन्दोलनकारियो में आक्रोश व्याप्त है़। यही कारण है़ कि *10% क्षैतिज आरक्षण एक्ट राजभवन में 06-वर्षो से बंधक क्यों* नारो के साथ आगामी *14-जुलाई को बहल चौक नजदीक चौक से राजभवन मार्च किया जाऐगा*
पूर्व छात्र संघ अध्यक्ष व पूर्व राज्य मंत्री रविन्द्र जुगरान ने कहा कि पिछले 06-वर्षो से शहीद परिजनों व तमाम राज्य आन्दोलनकारियो की समस्याओ का संज्ञान नही लिया आज उनके परिवार पर रोजी रोटी का संकट खड़ा हो गया।राजभवन ने एक्ट दबाकर रखा हुआ है़ और हमारे सारे नौजवान उम्रदराज हो गये। इस मार्च को सफल करने के लिए पूर्णत प्रयास किया जाऐगा।
पूर्व छात्र संघ अध्यक्ष विरेन्द्र पोखरियाल ने 14-जुलाई को राजभवन मार्च का समर्थन करते हुए कहा कि हमने इस राज्य के लिए जेल और लाठी इसलिए नही खाया कि हमारे राज्य आन्दोलनकारियो को हमेशा सड़को पर आना पड़ेगा।हम पुनः लामबंद होंगे और अपने राज्य आन्दोलनकारियो के साथ राज्य हितों को बचाने के लिए संघर्ष करेंगे।
वरिष्ठ राज्य आंदोलनकारी व महिला आयोग की पूर्व अध्यक्ष सुशीला बलूनी जी ने कहा कि ये हमारा दुर्भाग्य ही है़ कि राज्य के 20-वर्ष बाद भी सड़को पर आने को विवश होना पड़ रहा है़।
पूर्व राज्य मंत्री धीरेन्द्र प्रताप ने कहा कि राज्य आंदोलनकारियो व राज्य के हितों के लिए हम अंतिम क्षणों तक संघर्ष करेंगे और अपने लोगो के लिए गोली खाने से भी पीछे नही हेटेगे। वर्तमान सरकार द्बारा जिस प्रकार लगातार उपेक्षा की गई हम इसकी कड़ी भर्त्सना करते है़ और दिनांक 14-जुलाई के राजभवन मार्च को पूर्णत सफल करने हेतु बड़ी रणनीति बनाएंगे।
संयुक्त संघर्ष समिति के अध्यक्ष वेद प्रकाश ने कहा कि जिस प्रकार राजभवन ने राज्य आन्दोलनकारियो के एक्ट को पिछले 06-वर्षो से दबाकर रखा हुआ है़ और आज सैकड़ो आंदोलनकारी परिवारो की नौकरी पर संकट आ गया जो निंदनीय है़। हम 14-जुलाई को पूर्ण शक्ति के साथ मार्च करेंगे और राजभवन को मजबूर होना पड़ेगा।
सुशीला बलूनी , जगमोहन सिंह नेगी , धीरेन्द्र प्रताप , रविन्द्र जुगरान , विरेन्द्र पोखरियाल , वेद प्रकाश शर्मा , हर्षपति काला , महेन्द्र रावत , सुरेन्द्र कुकरेती , डाक्टर्स अहतान , प्रदीप कुकरेती , पूर्ण सिंह लिंगवाल , विक्रम भण्डारी , डी एस गुंसाई , ललित जोशी , रुकम पोखरियाल , जयदीप सकलानी , रामपाल , बलबीर नेगी , विनोद असवाल , पूर्ण सिंह राणा , युद्धवीर सिंह चौहान , बृजमोहन जोशी , धर्मपाल रावत , क्रांति कुकरेती , कमल गुंसाई , चन्द्र किरण राणा , अंबुज शर्मा , विरेन्द्र रावत , मोहन खत्री , कपिल डोभाल , गम्भीर मेवाड़ , सुमन भण्डारी , लॉक बहादुर थापा , सतेन्द्र भण्डारी , कपिल डोभाल , सुरेश नेगी , गणेश शाह , विकास रावत , लूसून टोंड्रिया , प्रमोद पंत , राकेश नौटियाल , सुमित थपलियाल , धीरेन्द्र पेट्वाल , हरी सिंह , सुरेश कुमार , जगदीश चौहान , सुदेश सिंह (मंत्री) सतेन्द्र नोगाई, अनुराग भट्ट , राधा तिवारी , अरुणा थपलियाल , सुलोचना भट्ट , सावित्री नेगी , कुसुम ठाकुर , सरोजनी गुनसोला , कौशल्या जोशी , सूर्यकान्त बमराडा , वीरेन्द्र गुंसाई , सरोजनी थपलियाल , विमला पंवार ,सतेन्द्र भट्ट आदि रहे।